अरविंद केजरीवाल

सीएम अरविंद केजरीवाल आज ईडी के सामने नहीं होंगे पेश,एमपी में करेंगे रोड शो

नई दिल्ली,2 नवंबर (युआईटीवी)- दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल आज प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) के सामने दिल्ली शराब नीति मामले पर अपना बयान देने के लिए आज पेश नहीं होंगे। सूत्रों ने बताया कि केंद्रीय जाँच एजेंसी के दिल्ली कार्यालय में मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल को सुबह 11 बजे उपस्थित होना था,उन्होंने एक पत्र लिखकर प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) को समन वापस लेने के लिए कहा है। मुख्यमंत्री केजरीवाल ने इस
समन को “राजनीति से प्रेरित और ग़ैरक़ानूनी” बताया है और कहा कि इसे भाजपा के इशारे पर भेजा गया है। केजरीवाल मध्य प्रदेश में आम आदमी पार्टी (आप) के लिए प्रचार करने जा रहे हैं। ईडी के समक्ष पेश नहीं होने के कारण ईडी केजरीवाल के खिलाफ नए समन जारी कर सकती है।

ईडी के समन को अधिकतम तीन बार एक व्यक्ति छोड़ सकता है। जिसके बाद गैर-जमानती वारंट ईडी को मिल सकता है। पीएमएलए या कड़े धन शोधन निवारण अधिनियम के तहत भी प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) समन जारी कर सकता है। इस बीच,गिरफ्तारी से बचने के लिए केजरीवाल के पास जमानत के लिए अनुरोध करने का विकल्प के साथ-साथ समन को अदालत में चुनौती देने का विकल्प भी उपलब्ध है।

प्रवर्तन निदेशालय (ईडी)
प्रवर्तन निदेशालय (ईडी)

दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल ने ईडी को दो पन्नों का पत्र लिख कर कहा कि, ” जो समन भेजा गया है,उसमें यह निर्दिष्ट नहीं किया गया है मुझे दिल्ली के मुख्यमंत्री के रूप में बुलाया जा रहा है या एक व्यक्ति के रूप में बुलाया जा रहा है या आप के राष्ट्रीय संयोजक के रूप में बुलाया जा रहा है। ऐसा प्रतीत हो रहा है जैसे यह एक घूमने की प्रकृति या मछली पकड़ने की प्रकृति है।”

केंद्र पर आम आदमी पार्टी (आप) ने आरोप लगाते हुए कहा कि राजनीति से प्रेरित मामले में केजरीवाल को केंद्र साजिश के तहत गिरफ्तार करना चाहता है।

338 करोड़ रुपये के मनी लेन-देन के मामले में जब सुप्रीम कोर्ट ने मनीष सिसोदिया की जमानत याचिका खारिज कर दी तो ईडी के मामले को आप नेताओं के खिलाफ और मौका मिल गया ।

दिल्ली शराब नीति मामले से कमाई गई धन को जाँचकर्ता अपराध की कमाई मानते हैं।

मनीष सिसोदिया
मनीष सिसोदिया

ईडी को जो पत्र केजरीवाल ने लिखा है,उस पर प्रतिक्रिया देते हुए भाजपा ने आम आदमी पार्टी (आप) को भ्रष्टाचार में लिप्त बताया है और कहा कि पार्टी के शीर्ष नेताओं को उन सभी सवालों का जवाब देना चाहिए जो अदालत और जाँच एजेंसियों द्वारा पूछे जा रहे हैं।

एक संवाददाता सम्मलेन में संवाददाताओं से बात करते हुए भाजपा प्रवक्ता शहजाद पूनावाला ने कहा कि “अरविंद केजरीवाल प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) के समन के बारे में जो भी दावा कर रहें कि यह ‘राजनीति से प्रेरित और ग़ैरक़ानूनी’ है, उसका अब कोई तुक नहीं बनता है। केजरीवाल सरकार पर कांग्रेस ने भी भ्रष्टाचार का आरोप लगाया है। 338 करोड़ रुपये के मनी लेन-देन के मामले में सुप्रीम कोर्ट ने भी मनीष सिसोदिया की जमानत याचिका खारिज कर दी है।”

प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) के बारे में दिल्ली के मंत्री सौरभ भारद्वाज ने कहा कि आज के समय में ईडी किसी को भी अदालत की निगरानी के बिना बुला कर कानून के शासन की परवाह किए बिना काम कर रही है। लोगों की तलाशी लेने के लिए औपनिवेशिक काल के दौरान भी पुलिस को वारंट की आवश्यकता होती थी। क्योंकि ऐसा माना जाता था यदि अदालत के वारंट के बिना पुलिस छापा मारेगी तो यह कानून के खिलाफ हो जाएगा और यह क़ानून के अंतर्गत न होकर दादागिरी (बदमाशी) में परिवर्तित हो जाएगी। लेकिन आज अदालत के वारंट के बिना ही ईडी काम कर रही है। आप विधायक श्री भारद्वाज ने दक्षिणी दिल्ली के ग्रेटर कैलाश से एक वीडियो बयान में कहा,कि किसके घर पर और कब छापा मारना है,यह ईडी के अधिकारी तय करते हैं।

आगे उन्होंने कहा कि ऐसे कई रिपोर्ट सामने आए हैं,जिनमें भ्रष्टाचार के आरोपों में भाजपा नेताओं के नाम सामने आए हैं,तो उन भाजपा नेताओं के घरों पर ईडी कब छापेमारी करेगी ?

नई शराब बिक्री नीति तैयार करने में दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल सहित कई आप के शीर्ष नेताओं पर भ्रष्टाचार का आरोप है। जिसे कथित नियम उल्लंघनों को चिह्नित करने के बाद दिल्ली के मुख्य सचिव द्वारा जुलाई 2022 में रद्द कर दिया गया था।

इस रिपोर्ट के पश्चात केंद्रीय जाँच ब्यूरो (सीबीआई) से इस मामले को देखने के लिए दिल्ली के उपराज्यपाल वीके सक्सेना ने कहा था।

यदि शराब नीति मामले में केजरीवाल गिरफ्तार होते हैं,तो वे दिल्ली के मंत्री सत्येन्द्र जैन और मनीष सिसोदिया के बाद आप के तीसरे वरिष्ठ नेता होंगे,जिन्हें इस मामले में गिरफ्तार किया जाएगा।

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