भारतीय परमाणु ऊर्जा संयंत्र के लिए रिएक्टर पोत का अंतिम ताप उपचार पूरा : रोसाटॉम

चेन्नई, 29 सितम्बर (युआईटीवी/आईएएनएस)- रूसी एकीकृत परमाणु ऊर्जा प्रमुख रोसाटॉम ने कहा कि तमिलनाडु के कुडनकुलम में आगामी पांचवीं 1,000 मेगावाट परमाणु ऊर्जा इकाई के लिए रिएक्टर पोत का अंतिम ताप उपचार पूरा हो गया है।

रोसाटॉम के अनुसार, वेल्डिंग खत्म करने और निरीक्षण करने के बाद, 320 टन वजन वाले रिएक्टर पोत को गैस भट्टी में ले जाया गया और छह थर्मोकपल लगाए गए।

उपकरण भट्ठी में चार दिनों के लिए 650 डिग्री सेल्सियस के तापमान पर 8-10 घंटे के लिए था।

विशेषज्ञों ने चार दिनों के लिए थर्मोकपल रीडिंग दर्ज की।

आइटम के थर्मल तड़के की एक सतत प्रक्रिया सुनिश्चित करने के लिए यह आवश्यक है।

रोसाटॉम ने कहा कि वेल्ड के तनाव को दूर करने और धातु के आवश्यक यांत्रिक गुणों को प्राप्त करने के लिए रिएक्टर पोत का गर्मी का उपचार आवश्यक है।

बाद में, रिएक्टर पोत के लिए मुख्य जोड़ के स्टड के लिए 54 थ्रेडेड होल्स के निर्माण के लिए आइटम को मशीनिंग में ले जाया गया।

ऊपर से, रिएक्टर को एक शीर्ष सिर द्वारा भली भांति बंद करके उस पर स्थापित इन-रिएक्टर नियंत्रण सेंसर के केबलों के आउटपुट के लिए रिएक्टरों और नलिकाओं को विनियमित और संरक्षित करने के लिए तंत्र और इकाइयों के ड्राइव के साथ सील कर दिया जाता है।

भारत के परमाणु ऊर्जा संयंत्र संचालक न्यूक्लियर पॉवर कॉरपोरेशन ऑफ इंडिया लिमिटेड (एनपीसीआईएल) के कुडनकुलम में दो 1,000 मेगावाट के संयंत्र (इकाइयाँ 1 और 2) हैं, जबकि चार और (इकाइयाँ 3, 4, 5 और 6) निर्माणाधीन हैं।

सभी छह इकाइयां रूसी तकनीक और रोसाटॉम द्वारा आपूर्ति किए गए उपकरणों के साथ बनाई गई हैं।

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