मथुरा, 5 सितंबर (युआईटीवी) | इसरो के चंद्रयान-3 मिशन की अपार सफलता के बाद, उत्तर प्रदेश के मथुरा में श्री कृष्ण जन्मस्थान मंदिर में इस वर्ष का जन्माष्टमी समारोह इसरो वैज्ञानिकों को समर्पित होगा।
श्री कृष्ण जन्माष्टमी सेवा संस्थान के सचिव कपिल शर्मा ने कहा, “राष्ट्रपति एस. सोमनाथ के प्रयासों को उजागर करने के लिए 7 सितंबर की आधी रात को ‘सोमनाथ पुष्प बांग्ला’ नाम दिया गया है।”

इसके बाद कपिल शर्मा ने बताया कि कृष्ण की मूर्ति की खास पोशाक का नाम ‘प्रज्ञान प्रभास’ रखा गया है जो कि चंद्रयान के प्रज्ञान रोवर के नाम पर रखा गया है. विशेष पोशाक को अंतिम रूप देने के लिए बंगाल और दिल्ली के डिजाइनर मिलकर काम कर रहे हैं।

मंदिर प्रबंधन संस्था के सदस्य गोपेश्वर नाथ चतुर्वेदी ने कहा कि इसरो का चंद्रयान-3 चंद्रमा के दक्षिणी ध्रुव पर पहुंच गया है. यह पूरे भारत के लिए बहुत गर्व और बहुत बड़ी उपलब्धि है और हम वैज्ञानिकों की दृढ़ता, त्याग और कड़ी मेहनत की सराहना करते हैं।
श्री कृष्ण की 5,250वीं जयंती के भव्य और विशेष अवसर पर इसरो वैज्ञानिकों को मनाने की विशेषताएं शामिल हैं
जैसे ही लैंडर मॉड्यूल प्रज्ञान उतरा, इसकी सफलता के लिए मथुरा के प्रमुख मंदिरों में विशेष प्रार्थनाएं की गईं।